हरियाणा में बारिश हुई शरू, हजारों क्विंटल अनाज खुले में भीगा, किसानों के लिए काल बन रहा है मौसम
बारिश में गीलेपन के कारण फसल को नुकसान होने की संभावना है, जिससे किसानों और आढ़तियों को नुकसान उठाना पड़ेगा। समय पर न उठना नुकसान का सबसे बड़ा कारण माना जाता है।
Apr 13, 2024, 21:21 IST
Haryana News: हरियाणा में गेहूं की खरीद हो रही है, जबकि किसान खरीद के लिए अनाज बाजारों में भी पहुंच रहे हैं। भारत मौसम विज्ञान विभाग ने शनिवार और रविवार को हरियाणा के कुछ हिस्सों में भारी बारिश की भविष्यवाणी की है। इस वजह से किसानों को गेहूं और सरसों की फसल को लेकर चिंता हो रही है। वहीं शनिवार दोपहर भारी बारिश के कारण अनाज मंडी में खुले में रखी हजारों क्विंटल गेहूं और सरसों की फसल बारिश में डूब गई।
आपको बता दें कि बारिश में गीलेपन के कारण फसल को नुकसान होने की संभावना है, जिससे किसानों और आढ़तियों को नुकसान उठाना पड़ेगा। समय पर न उठना नुकसान का सबसे बड़ा कारण माना जाता है। वहीं, अधिकारियों ने मंडी अधिकारियों पर सामान नहीं उठाने का आरोप लगाया, दूसरी ओर नोटिस जारी करने के बाद भी फसलों को तिरपाल से नहीं ढकने के लिए मंडी अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की गई है।
समय पर नहीं उठा
मौसम विज्ञानी ने कहा कि पिछले तीन-चार दिनों से मौसम में बदलाव आ रहा था और मौसम विभाग ने भी बारिश की भविष्यवाणी की थी। इसके बावजूद न तो अनाज बाजार से सरसों उठाई जा सकी और न ही खुले में पड़े अनाज को ढकने की व्यवस्था की जा सकी। इसके चलते भारी बारिश हो रही है। उन्होंने कहा कि मंडी में फसलों की खरीद भी बंद है और इसके बावजूद अनाज बाजार से उठाए गए ट्रक खाली नहीं हुए और अनाज स्थानीय मंडी में वापस आ गया। आढ़तियों का मानना है कि यदि खरीदे गए अनाज को समय पर उठाया जाता है तो कोई नुकसान नहीं होता है।
आढ़तियों को चेतावनी दी गई
चरखी दादरी बाजार समिति के सचिव उमेश डांगी ने स्वीकार किया कि लिफ्टिंग धीमी थी। नतीजतन, बड़ी मात्रा में अनाज खुले में पड़ा हुआ है। साथ ही उन्होंने कहा कि खराब मौसम के कारण बारिश की संभावना को देखते हुए आढ़तियों को पहले से ही तिरपाल आदि की व्यवस्था करने की चेतावनी दी गई थी। अनाज को ढकने के लिए। उन्होंने कहा कि खाद्यान्न की ढक्कन न होने के कारण भी नुकसान हुआ है।
आपको बता दें कि बारिश में गीलेपन के कारण फसल को नुकसान होने की संभावना है, जिससे किसानों और आढ़तियों को नुकसान उठाना पड़ेगा। समय पर न उठना नुकसान का सबसे बड़ा कारण माना जाता है। वहीं, अधिकारियों ने मंडी अधिकारियों पर सामान नहीं उठाने का आरोप लगाया, दूसरी ओर नोटिस जारी करने के बाद भी फसलों को तिरपाल से नहीं ढकने के लिए मंडी अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की गई है।
समय पर नहीं उठा
मौसम विज्ञानी ने कहा कि पिछले तीन-चार दिनों से मौसम में बदलाव आ रहा था और मौसम विभाग ने भी बारिश की भविष्यवाणी की थी। इसके बावजूद न तो अनाज बाजार से सरसों उठाई जा सकी और न ही खुले में पड़े अनाज को ढकने की व्यवस्था की जा सकी। इसके चलते भारी बारिश हो रही है। उन्होंने कहा कि मंडी में फसलों की खरीद भी बंद है और इसके बावजूद अनाज बाजार से उठाए गए ट्रक खाली नहीं हुए और अनाज स्थानीय मंडी में वापस आ गया। आढ़तियों का मानना है कि यदि खरीदे गए अनाज को समय पर उठाया जाता है तो कोई नुकसान नहीं होता है।
आढ़तियों को चेतावनी दी गई
चरखी दादरी बाजार समिति के सचिव उमेश डांगी ने स्वीकार किया कि लिफ्टिंग धीमी थी। नतीजतन, बड़ी मात्रा में अनाज खुले में पड़ा हुआ है। साथ ही उन्होंने कहा कि खराब मौसम के कारण बारिश की संभावना को देखते हुए आढ़तियों को पहले से ही तिरपाल आदि की व्यवस्था करने की चेतावनी दी गई थी। अनाज को ढकने के लिए। उन्होंने कहा कि खाद्यान्न की ढक्कन न होने के कारण भी नुकसान हुआ है।