Income tax: करोड़ों टैक्स पेयर लोगों के लिए आया नया अपडेट। इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने दी यह खास सुविधा जाने इसके इस्तेमाल के बारे में।
New update for crores of tax payers. Income Tax Department has given this special facility, know about its use
Income tax new feature: इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने अब AIS मैं एक नया फीचर जोड़ दिया है। इस फीचर्स को फीडबैक मेकैनिज्म का नाम दिया है यह फंक्शन टेक्स पेयर्स को मॉनिटरिंग करने में सहायता करने वाला है।
इसके साथ-साथ यह टैक्स पेयर्स को उनकी ओर से संबंधित रिपोर्टिंग संस्थाओं के दिए गए फीडबैक के स्टेटस पर रियल टाइम अपडेट देने वाला है।
मिली जानकारी के मुताबिक इसका यह भी एक फायदा है कि टैक्स पेयर को रियल टाइम पर पता चल पाएगा कि उनके फीडबैक को सोर्स की ओर से आंशिक के रूप से या फिर पूरी तरह से एक्सेप्ट कर लिया गया है इसके अलावा रिजेक्शन के बारे में भी जानकारी मिलने वाली है।
यदि फीडबैक को किसी भी तरह स्वीकार किया जाता है तो सोर्स को एक करेक्शन स्टेटमेंट फाइल करके जानकारी को सही करना होगा।
एनुअल इनफॉरमेशन स्टेटमेंट फंक्शन क्या है जाने
एनुअल इनफॉरमेशन स्टेटमेंट फंक्शन कई इनफॉरमेशन सोर्सेस से प्राप्त फाइनेंशियल डाटा के आधार पर तैयार किया जाता है तथा यह टैक्स पेयर के बड़ी संख्या में फाइनेंशियल ट्रांजैक्शन का डिटेल प्रदान करता है जिनका टैक्स से जुड़ा प्रभाव हो सकता है। एनुअल इनफॉरमेशन स्टेटमेंट सिस्टम में आदर्श गए हर ट्रांजैक्शन पर प्रतिक्रिया देने की सुविधा दी गई है तथा यह प्रतिक्रिया टैक्स पेयर को ऐसी जानकारी के सोर्स से प्राप्त इनफॉरमेशन के सही होने की स्थिति पर कमेंट करने में भी मदद करता है। तथा इसमें गलत रिपोर्ट के मामले में उसे ऑटोमेटिक तरीके से कंफर्म करने के लिए सोर्स के पास ले जाया जाता है।
इस्तेमाल करने के बारे में पूरी जानकारी।
किसी भी सोर्स की ओर से फीडबैक स्टेटस कंफर्म होने पर टैक्स पेयर्स को पता चल जाएगा कि फीडबैक कंफर्मेशन के लिए रिपोर्ट सोर्स के साथ शेयर किया गया है या नहीं ,इससे टैक्स पेयर्स
को यह भी पता चल जाएगा की किस प्रकार की प्रतिक्रिया दी गई है। इसके साथ-साथ यह भी पता चल जाएगा कि वह तारीख क्या है जिस दिन फीडबैक को कन्फॉर्मेशन के लिए रिपोर्टिंग सोर्स के साथ शेयर किया गया है।
सीबीडीटी की दी गई जानकारी के अनुसार
सीबीडीटी ने बयान में बताया कि आयकर विभाग ने अब सूचना पुष्टि प्रक्रिया की स्थिति प्रदर्शित करने के लिए ए आई एस में एक नई व्यवस्था शुरू कर दी है। इस दिए गए सीबीडीटी के बयान के अनुसार यह भी प्रदर्शित करेगा की करदाता की प्रतिक्रिया पर स्रोत की तरफ से आंशिक या पूर्ण रूप से स्वीकार या अस्वीकार करके कार्रवाई की गई है। पूर्ण स्वीकृति के मामले में स्रोत की तरफ से सुधार विवरण दाखिल करके जानकारी को सही करना आवश्यक है।
सीबीडीटी ने बयान में यह भी बताया कि करदाताओं को ए आइएस में ऐसी जानकारी प्रदर्शित करके पारदर्शिता बढ़ाने की उम्मीद है।
इसकी सहायता से आप अपने सालाना ब्योरे में गलत सूचना को रिपोर्ट कर सकते हैं इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने टैक्स पेयर्स के लिए यह नई सुविधा शुरू करने के पीछे लोगों को आसान प्रक्रिया का हिस्सा बनाना है।
ए आइ एस को कर विभाग द्वारा एक वित्तीय वर्ष में किसी व्यक्ति के आय के बारे में पूरी जानकारी करदाता को प्रदर्शित करने के लिए पेश किया गया है।
जिसमें करदाता को ऑनलाइन फीडबैक देने की सुविधा दी गई है।
ए आई एस स्वैच्छिक अनुपालन को बढ़ावा देता है।
आयकर रिटर्न को सहज पूर्व भरने में सक्षम करता है
गैर अनुपालन को रोकता है।