PNB ने बढ़ाई MCLR दरें ! लोन हुआ महंगा, जानिए नई दरें
पंजाब नेशनल बैंक (PNB) ने अपने करोड़ों ग्राहकों को बड़ा झटका दिया है। बैंक ने 1 अगस्त 2024 को मार्जिनल कॉस्ट ऑफ फंड्स बेस्ड लेंडिंग रेट (MCLR) में 0.05 प्रतिशत या 5 बेसिस पॉइंट की बढ़ोतरी की घोषणा की है। इस कारण अधिकांश कंज्यूमर लोन महंगे हो गए हैं।
PNB Bank: पंजाब नेशनल बैंक (PNB) ने अपने करोड़ों ग्राहकों को बड़ा झटका दिया है। बैंक ने 1 अगस्त 2024 को मार्जिनल कॉस्ट ऑफ फंड्स बेस्ड लेंडिंग रेट (MCLR) में 0.05 प्रतिशत या 5 बेसिस पॉइंट की बढ़ोतरी की घोषणा की है। इस कारण अधिकांश कंज्यूमर लोन महंगे हो गए हैं।
नई MCLR दरें
MCLR पीरियड | मौजूदा MCLR (1 जुलाई 2024) | रिवाइज MCLR (1 अगस्त 2024) |
---|---|---|
ओवरनाइट | 8.25% | 8.30% |
एक महीना | 8.30% | 8.35% |
तीन महीना | 8.50% | 8.55% |
छह महीना | 8.70% | 8.75% |
एक साल | 8.85% | 8.90% |
तीन साल | 9.15% | 9.20% |
क्या है MCLR?
MCLR (मार्जिनल कॉस्ट ऑफ फंड्स बेस्ड लेंडिंग रेट) भारतीय बैंकिंग प्रणाली में उधार दरों को निर्धारित करने में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यह दर बैंक की फंड्स की लागत, ऑपरेटिंग लागत, और लाभ मार्जिन को ध्यान में रखकर तय की जाती है।
MCLR दरों में बढ़ोतरी का प्रभाव
MCLR दरों में इस बढ़ोतरी से अधिकांश कंज्यूमर लोन महंगे हो जाएंगे। एक साल की पीरियड वाले MCLR, जिसका उपयोग ज्यादातर ऑटो और पर्सनल लोन की कीमत तय करने के लिए किया जाता है, को 8.85 प्रतिशत से बढ़ाकर 8.90 प्रतिशत कर दिया गया है। इसके अलावा, तीन साल की MCLR भी 5 बेसिस पॉइंट बढ़कर 9.20 प्रतिशत हो गई है।
अन्य बैंक भी बढ़ा रहे हैं MCLR दरें
बुधवार को एक अन्य पब्लिक सेक्टर बैंक, बैंक ऑफ इंडिया ने भी एक साल के MCLR में 5 बेसिस पॉइंट की बढ़ोतरी की घोषणा की, जिससे यह 8.95 प्रतिशत हो गई। हालांकि, अन्य पीरियड के लिए दरों में कोई बदलाव नहीं किया गया है।
कैसे करें तैयारी?
इस बढ़ोतरी का असर आपके लोन पर पड़ेगा। अगर आपका लोन MCLR से जुड़ा हुआ है, तो आपके ईएमआई में बढ़ोतरी हो सकती है। ऐसे में, अपने बैंक से संपर्क करके लोन की नई दरों के बारे में जानकारी लें और बजट की योजना बनाएं।
PNB की MCLR दरों में बढ़ोतरी से लोन महंगे हो गए हैं, जिससे कंज्यूमर को अपनी वित्तीय योजनाओं में बदलाव करना पड़ सकता है। इसलिए, समय रहते सभी आवश्यक जानकारी प्राप्त करें और अपने लोन की नई दरों के अनुसार अपने बजट को समायोजित करें।