Haryana News: हरियाणा में फिर आमने-सामने होगा चौटाला परिवार, पहली जीत के इस सीट पर उतरेंगें पूर्व डिप्टी सीएम
दिग्विजय चौटाला के कंधे पर परिवार की इस पुरानी सीट को चौटाला कुनबे के पास वापस लाने की जिम्मेदारी के साथ-साथ खुद को हार की हैट्रिक से बचने की कोशिश भी होगी। उन्हें इन दिनों क्षेत्र में काफी पसीना बहाते हुए देखा जा सकता है।
Aug 6, 2024, 13:17 IST
Haryana News: हरियाणा में विधानसभा चुनाव के दौरान कुछ उम्मीदवार मैदान में नजर आएंगे। वहीं, जिले की डबवाली विधानसभा सीट पर इस बार देवीलाल परिवार में झड़प देखी जा सकती है। पिछले विधानसभा चुनाव में अभय चौटाला ऐलनाबाद से और रंजीत चौटाला रानिया से जीते थे। तो वहीं, अमित सिहाग, जिन्हें डबवाली के देवीलाल परिवार से माना जाता है, भी पहुंचे, लेकिन इस बार डबवाली में इस परिवार के बीच टकराव हो सकता है।
जेजेपी ने इस सीट से दिग्विजय सिंह को अपना उम्मीदवार घोषित किया है। यही कारण है कि यह सीट पहले ही सुर्खियों में आ चुकी है। दिग्विजय लगभग 6 महीने से सक्रिय हैं। ऐसे में इनेलो के प्रधान महासचिव अभय चौटाला की पत्नी कांता चौटाला को भी मैदान में देखा जा सकता है। उनका नाम पार्टी के दो-तीन संभावित उम्मीदवारों में सबसे ऊपर है। वह पिछले दो-तीन वर्षों से डबवाली में सक्रिय हैं।
यह सीट इतनी खास क्यों है?
गौरतलब है कि सिरसा की डबवाली सीट पर पूर्व में देवीलाल भी विधायक रहे हैं। बाद में सीट आरक्षित कर ली गई। 2000 से यह सीट इनेलो का गढ़ बन गई थी। 2009 में अजय चौटाला के खुद जेल जाने के बाद, उनकी पत्नी नैना चौटाला 2014 में इनेलो के टिकट पर जीती और विधानसभा पहुंची।
जेजेपी ने इस सीट से दिग्विजय सिंह को अपना उम्मीदवार घोषित किया है। यही कारण है कि यह सीट पहले ही सुर्खियों में आ चुकी है। दिग्विजय लगभग 6 महीने से सक्रिय हैं। ऐसे में इनेलो के प्रधान महासचिव अभय चौटाला की पत्नी कांता चौटाला को भी मैदान में देखा जा सकता है। उनका नाम पार्टी के दो-तीन संभावित उम्मीदवारों में सबसे ऊपर है। वह पिछले दो-तीन वर्षों से डबवाली में सक्रिय हैं।
यह सीट इतनी खास क्यों है?
गौरतलब है कि सिरसा की डबवाली सीट पर पूर्व में देवीलाल भी विधायक रहे हैं। बाद में सीट आरक्षित कर ली गई। 2000 से यह सीट इनेलो का गढ़ बन गई थी। 2009 में अजय चौटाला के खुद जेल जाने के बाद, उनकी पत्नी नैना चौटाला 2014 में इनेलो के टिकट पर जीती और विधानसभा पहुंची।
नैना चौटाला चौटाला परिवार की पहली महिला सदस्य हैं जिन्होंने चुनावी राजनीति में प्रवेश किया और विधायक बनीं। हालाँकि, 2019 तक, पारिवारिक कलह के कारण आईएनएलडी टूट गया और इसके साथ, इस सीट से उसका प्रभुत्व भी समाप्त हो गया। कांग्रेस ने 2019 के विधानसभा चुनाव में उनसे यह सीट छीन ली थी।नैना ने भी डबवाली छोड़ दी और बढरा चली गई। वर्तमान में वे विधायक हैं।
ऐसे में अब दिग्विजय चौटाला के कंधे पर परिवार की इस पुरानी सीट को चौटाला कुनबे के पास वापस लाने की जिम्मेदारी के साथ-साथ खुद को हार की हैट्रिक से बचने की कोशिश भी होगी। उन्हें इन दिनों क्षेत्र में काफी पसीना बहाते हुए देखा जा सकता है। 33 वर्षीय दिग्विजय चौटाला इस अग्नि परीक्षा में कितना कामयाब हो पाते हैं। ये तो आने वाला समय ही बताएगा।
बहरहाल, 2019 में डबवाली विधानसभा सीट पर आए परिणाम की बात करें तो यहां कांग्रेस के अमित सिहाग ने बीजेपी के आदित्य देवीलाल को 15 हजार से अधिक मतों से हराया था। आदित्य ताऊ देवीलाल के सबसे छोटे बेटे जगदीश चौटाला के बेटे हैं। वो इस बार भी बीजेपी से टिकट हासिल करने की कोशिश में लगे हुए हैं। अगर बीजेपी उन्हें टिकट देती है तो फिर इस सीट पर चाचा-भतीजे के बीच रोचक चुनावी लड़ाई देखने को मिल सकती है।