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हरियाणा में मांगों को लेकर 15 जुलाई को नागरिक अस्पताल के चिकित्सक रहेंगे हड़ताल पर

हरियाणा में मांगों को लेकर 15 जुलाई को नागरिक अस्पताल के चिकित्सक रहेंगे हड़ताल पर
 
नागरिक अस्पताल

हरियाणा सिविल मेडिकल सर्विस एसोसिएशन के आह्वान पर जिलाभर के सरकारी अस्पतालों में कार्यरत चिकित्सक 15 जुलाई को 11 बजे तक हड़ताल पर रहेंगे। इस दौरान ओपीडी नहीं की जाएंगी। हालांकि इस दौरान जनसेवा को देखते हुए इमरजेंसी तथा पोस्टमार्टम सेवाओं को बहाल रखा जाएगा। शुक्रवार को इसी को लेकर एसोसिएशन सदस्यों ने प्रधान डॉ. बिजेंद्र ढांडा के नेतृत्व में सीएमओ डॉ. गोपाल गोयल से मुलाकात की और मांगों को लेकर ज्ञापन सौंपा।


ज्ञापन सौंपने से पहले हरियाणा सिविल मेडिकल सर्विस एसोसिएशन के आह्वान पर चिकित्सक प्रधान डॉ. बिजेंद्र ढांडा के नेतृत्व में एकत्रित हुए। एचसीएमए एसोसिएशन के प्रधान डॉ. बिजेंद्र ढांडा, डॉ. संदीप लोहान, डिप्टी एमएस डॉ. राजेश भोला, डॉ. मंजू ने कहा कि सरकार और एचसीएमएस एसोसिएशन के बीच आपसी सहमति के बाद डाक्टरों ने छह महीने पहले अपना आंदोलन स्थगित कर दिया था लेकिन आजतक मानी गई मांगें पूरी नहीं हो पाई हैं।

स्पेशलिस्ट कॉडर, पीजी कोर्स के बांड में कमी, एसएमओ की सीधी भर्ती रोकने और केंद्रीय सरकारी डाक्टरों के समान एसीपी भत्तों की मांग पूरी नहीं होने पर डाक्टरों में नाराजगी बढ़ी है। यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि छह महीने बाद भी मांगों पर एसएमओ की सीधी भर्ती रोकने और केंद्रीय सरकारी डाक्टरों के समान एसीपी भत्तों की नहीं होने पर बढ़ी नाराजगी पर स्थिति आज भी जस की तस है। डिप्टी एमएस डॉ. राजेश भोला, डॉ. संदीप लोहान ने कहा कि मेडिकल आफिसर के 3900 पदों में से 1100, एसएमओ के 636 पदों में से 250 पद और निदेशक के आठ पदों में से पांच पद खाली हैं।

राज्य के सरकारी अस्पतालों में विशेषज्ञों की भारी कमी है लेकिन स्पेशलिस्ट कॉडर का प्रस्ताव वित्त विभाग में पिछले चार महीने से अटका हुआ है। पीजी बॉड की राशि में कमी का प्रस्ताव भी छह महीने से लंबित है। डॉक्टरों (एमओ) से (एसएमओ) के नियमित पदोन्नति की फाइल भी पिछले डेढ़ साल से देरी से चल रही है।

जो डॉक्टर 2002 में एमओ के रूप में शामिल हुए थे, वे अभी भी पदोन्नति की प्रतीक्षा कर रहे हैं। यह वास्तव में दुखद है कि डाक्टर (कक्षा 1 अधिकारी) बुनियादी मुद्दों जैसे नियमित पदोन्नति, एसीपी, प्रोबेशन क्लीयरेंस आदि के लिए संघर्ष कर रहे हैं और उनका शोषण हो रहा है। मांगों को लेकर स्वास्थ्य विभाग तथा अधिकारियों को अवगत करवाया जा चुका है लेकिन मांगों को पूरा करने के लिए कोई कदम नहीं उठाया गया है। जिसके चलते मजबूरन चिकित्सकों को यह कदम उठाना पड़ रहा है।


हड़ताल के बावजूद निभाया जाएगा नैतिक फर्ज, जनता से भी की अपील

हरियाणा सिविल मेडिकल सर्विस एसोसिएशन के प्रधान डॉ. बिजेंद्र ढांडा तथा डिप्टी एमएस डॉ. राजेश भोला ने कहा कि हड़ताल पर रहते हुए भी चिकित्सकों ने अपने नैतिक फर्ज को समझेंगे है। सभी अस्पतालों में इमरजेंसी तथा पोस्टमार्टम सेवाओं को बहाल रखा जाएगा। आमजन को भी कोई परेशानी न हो, इसका भी विशेष ध्यान रखा जाएगा।