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Ananya Singh Success Story: 22 साल की उम्र में बिना कोचिंग पास किया UPSC, आज हैं IAS अधिकारी 

पढ़ें इनकी प्रेणादायक सफलता की कहानी   
 
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IAS Success Story: कहते हैं जहां चाह होती है, वहां राह निकल ही आती है। अगर आपमें कुछ हासिल करने का जुनून है और आप उसके लिए अथक परिश्रम करते हैं, तो सफलता आपके कदम चूमती है। ऐसी ही कहानी है IAS अनन्या सिंह की, जिनका सफर वाकई प्रेरणादायक है।

सफलता की कहानियों की इस श्रृंखला में, आज हम अनन्या सिंह के बारे में बात करेंगे, जिन्होंने अपने पहले प्रयास में ही महज 22 साल की उम्र में चुनौतीपूर्ण UPSC परीक्षा पास कर ली।

अनन्या सिंह प्रयागराज, उत्तर प्रदेश की रहने वाली हैं। अक्सर 'ब्यूटी विद ब्रेन्स' के नाम से मशहूर अनन्या बचपन से ही तेज दिमाग वाली, मेधावी, हंसमुख और मेहनती रही हैं। उनके परिवार का कहना है कि उन्हें हमेशा से ही किताबों से प्यार रहा है।

अकादमिक उत्कृष्टता:
भारत की सबसे कम उम्र की IAS अधिकारियों में से एक अनन्या ने सेंट मैरी कॉन्वेंट स्कूल से अपनी स्कूली शिक्षा पूरी की। उन्होंने अपनी हाई स्कूल परीक्षा में 96% और 12वीं कक्षा में 98.25% अंक हासिल किए और अपने जिले में टॉप किया। अनन्या को शुरू से ही पता था कि उन्हें क्या बनना है। वह एक नियमित छात्रा थी और उसका नियम था कि वह प्रतिदिन आठ घंटे पढ़ाई करती थी, जिसका उसने तब तक पूरी लगन से पालन किया जब तक कि वह आईएएस अधिकारी बनने का लक्ष्य हासिल नहीं कर लेती।

12वीं कक्षा पूरी करने के बाद, अनन्या ने दिल्ली विश्वविद्यालय के श्री राम कॉलेज ऑफ कॉमर्स से अर्थशास्त्र में स्नातक की डिग्री हासिल की। ​​इस दौरान, उसने यूपीएससी की तैयारी शुरू कर दी, जिसमें उसने तीन साल तक बिना एक भी दिन छोड़े हर दिन आठ घंटे पढ़ाई की।

AIR 51 के साथ यूपीएससी पास किया:
उल्लेखनीय बात यह है कि अनन्या ने किसी कोचिंग क्लास में भाग नहीं लिया, बल्कि नियमित रूप से सेल्फ-स्टडी पर भरोसा किया। नतीजतन, उसने न केवल अपने पहले प्रयास में यूपीएससी परीक्षा पास की, बल्कि सफलता का नया कीर्तिमान स्थापित करते हुए ऑल इंडिया रैंक (AIR) 51 भी हासिल की।

कोचिंग से ज्यादा सेल्फ-स्टडी पर भरोसा:
अपने साक्षात्कार में, अनन्या ने उल्लेख किया कि उसे कोचिंग से ज्यादा सेल्फ-स्टडी पर भरोसा है। प्रारंभिक परीक्षा के बाद, उसने रोजाना लिखने का अभ्यास किया, जिससे वह परीक्षा के लिए अच्छी तरह तैयार हो गई। आज, वह कई लोगों के लिए एक मिसाल है।

टाइमटेबल का महत्व:
अनन्या जीवन में टाइमटेबल के महत्व पर जोर देती हैं। उनका मानना ​​है कि रोजाना 7-8 घंटे सही तरीके से पढ़ाई करने से निश्चित रूप से सफलता मिलेगी। अनन्या अपने स्टाइल और खूबसूरती के लिए सोशल मीडिया पर काफी लोकप्रिय हैं, इंस्टाग्राम पर उनके 46.6K फॉलोअर्स हैं।

उनकी तस्वीरों से पता चलता है कि अनन्या अपनी निजी जिंदगी में काफी स्टाइलिश हैं। आज यूपी की यह बेटी लाखों लोगों के लिए प्रेरणा बन गई है और एक मोटिवेशनल स्पीकर के तौर पर भी जानी जाती है।

अनन्या सिंह की यात्रा समर्पण, आत्म-अनुशासन और कड़ी मेहनत की शक्ति को रेखांकित करती है। उनकी सफलता की कहानी यूपीएससी में सफलता पाने और अपने सपनों को हासिल करने की इच्छा रखने वाले सभी लोगों के लिए उम्मीद की किरण है।