Haryana sarkari school: हरियाणा के सरकारी स्कूलों में चला बड़ा फर्जीवाड़ा चार लाख छात्रों के खिलाफ सीबीआई ने दर्ज की FIR

स्कॉलरशिप यूनिफार्म के नाम पर सरकारी फंड का मिसयूज किया गया सीबीआई ने तीन एफआईआर दर्ज की।
हरियाणा के सरकारी स्कूलों में वर्ष 2014 से 2016 के बीच 4 लाख फर्जी दाखिले करने के मामले में चंडीगढ़ सीबीआई ने अब तीन एफआईआर दर्ज की है।
छात्रवृत्ति मिड डे मील और वर्दी के लिए सरकार से मिलने वाले फंड में गबन के लिए कागजी दाखिले किए गए थे।
चार लाख छात्रों का एडमिशन निकला जांच में फर्जी।
पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय को साल 2016 में बताया गया कि आंकड़ों के वेरिफिकेशन से यह खुलासा हुआ है कि हरियाणा के सरकारी स्कूलों की अलग-अलग कक्षाओं में 22 लाख छात्र थे, लेकिन वास्तव में केवल 18 लाख छात्र ही पाए गए. जबकि 4 लाखों छात्रों का प्रवेश फर्जी पाया गया.
अदालत को यह भी बताया गया कि समाज के पिछड़े या गरीब वर्ग के छात्रों को स्कूल जाने के लिए प्रोत्साहित करने और मिड डे मील के तहत कुछ लाभ भी दिए गए. हाईकोर्ट ने राज्य विजिलेंस डिपार्टमेंट को 4 लाख 'अस्तित्वहीन' छात्रों के संबंध में पैसों की हेराफेरी की जांच के लिए एक वरिष्ठ अधिकारी को नियुक्त करने का आदेश दिया था.
सालों की जांच के बाद भी अभी तक किसी भी FIR में यह स्पष्ट नहीं है कि कुल कितने का वित्तीय घोटाला हुआ है। इतना जरूर कहा गया कि छात्रवृति, वर्दी, मिड-डे मील के लिए मिलने वाले फंड में गबन किया गया। CBI में दर्ज FIR के मुताबिक हरियाणा के विभिन्न जिलों में 4 लाख से अधिक स्टूडेंट का दाखिला दिखाकर वित्तीय गबन किया गया।
गबन करने वालों ने इन 4 लाख से ज्यादा स्टूडेंट्स के लिए अध्यापकों की आवश्यकता दिखाई गई थी। इस मामले में शक के दायरे में प्राथमिक शिक्षा विभाग है। पहले विजिलेंस और अब CBI ने भी किसी को नामजद नहीं किया है। अब फिर से संबंधित जिम्मेदारों से पूछताछ हो सकती है।
जून 2015 में शिक्षा विभाग ने 719 गेस्ट टीचरों को हटाने का नोटिस जारी किया। गेस्ट टीचर हाईकोर्ट पहुंचे। कोर्ट ने 6 जुलाई, 2015 को याचिका खारिज कर दी। रिव्यू पिटीशन भी नहीं मानी। सितंबर, 2015 में डबल बेंच में पहुंचे। सरकार को नोटिस जारी हुआ। वहां जवाब में सरकार ने बताया कि सरकारी स्कूलों में छात्र घट गए हैं।
कोर्ट ने रिकॉर्ड मांगा तो सामने आया कि 22 लाख बच्चों में 4 लाख के दाखिले फर्जी हैं। कोर्ट ने सरकारी धन की हेराफेरी की आशंका जताते हुए जांच कराने को कहा, जो उस वक्त नहीं कराई। कोर्ट ने शिक्षा विभाग के ACS को बुलाया। ब्लॉक व जिला स्तर पर जांच हुई, कोर्ट संतुष्ट नहीं हुआ तो विजिलेंस को सौंपी।
गुरुग्राम विजिलेंस के SP हामिद अख्तर, विजिलेंस ब्यूरो पंचकूला मुख्यालय की IG चारू बाली ने जांच की। फिर SIT बनी। रोहतक, हिसार, गुरुग्राम रेंज के स्कूलों में जांच के बाद मार्च-अप्रैल 2018 में 7 FIR दर्ज हुईं। गुरुग्राम के 10 स्कूलों में सामने आया कि 5,298 बच्चों का दाखिला था, लेकिन वार्षिक परीक्षा में 4232 ही बैठे।
मार्च 2019 में नए सिरे से SIT बनाने की अनुमति मांगी गई। फिर 200 विजिलेंस कर्मियों ने 12,924 स्कूलों में प्रोफार्मा के जरिये डेटा मिलान किया। करनाल, पानीपत व जींद में 50,687 बच्चे नहीं मिले। अम्बाला में फर्जी दाखिले मिले। हिसार, भिवानी, सिरसा व फतेहाबाद जिलों में 5,735 बच्चे अनुपस्थित मिले। रोहतक, सोनीपत व झज्जर में सब कुछ ठीक मिला।
हैरान करने वाली बात थी कि गैर-हाजिरी के चलते नाम न काटने का नियम था। ऐसे में शैक्षणिक सत्र में छात्रों की संख्या में इतना बड़ा अंतर आना सहज नहीं था। ट्रांसफर/स्कूल लिविंग सर्टिफिकेट और ड्रॉपआउट केसों को लेकर स्कूल के रिकॉर्ड में एंट्री होनी चाहिए थी।
कई स्कूलों में बच्चों की गैर-मौजूदगी के चलते उनका नाम काट देना बताया गया, जबकि स्कूल से नाम न काटने की पॉलिसी थी। वहीं स्टूडेंट्स के पते भी अधूरे पाए गए थे।
हाईकोर्ट ने सीबीआई को सौंपी थी जांच
विजिलेंस ब्यूरो की अनुशंसा पर हरियाणा में इस मामले के संबंध में 7 एफआईआर दर्ज की गई थीं. उच्च न्यायालय ने साल 2019 में इस मामले की सुनवाई के दौरान कहा कि इस मामले के संबंध में प्राथमिकी दर्ज होने के बाद भी जांच 'बहुत धीमी' है. इसके बाद उसने उचित, गहन और त्वरित जांच के लिए यह मामला सीबीआई को सौंप दिया.
कोर्ट ने राज्य सतर्कता विभाग को दो नवंबर, 2019 के अपने आदेश के एक सप्ताह के भीतर सभी दस्तावेज सौंपने को कहा था और सीबीआई को तीन महीने के भीतर एक रिपोर्ट दाखिल करने का भी आदेश दिया था.
532 स्कूल ऐसे मिले जिन में वर्ष 2014 से 2016 के बीच 40% से ज्यादा ड्रॉप आउट था
करनाल पानीपत और जींद में उन 2 वर्षों में 50687 बच्चे वास्तविकता में मिले ही नहीं.
जिलों के स्कूल दिन में 40% से ज्यादा ड्रॉप आउट
जिला। स्कूल संख्या
पंचकूला 7
यमुनानगर 22
अंबाला 20
कुरुक्षेत्र 8
कैथल 12
करनाल 20
पानीपत 18
जींद 14
सोनीपत 29
रोहतक 5
झज्जर 28
हिसार 25
फतेहाबाद 14
सिरसा 16
भिवानी 34
चरखी दादरी 20
गुरुग्राम 35
रेवाड़ी। 16
महेंद्रगढ़ 69
नुह। 85
फरीदाबाद 15
पलवल 22