जींद की लाडली बेटी मानसी लाठर ने किया देश का नाम रोशन, अंडर 17 एशियन चैंपियनशिप में जीता गोल्ड मेडल
जींद जिले के जुलाना क्षेत्र के लजवाना कलां गांव की लाडली बेटी मानसी लाठर ने जोर्डन के ओमान में 16 जून से 24 जून तक आयोजित अंडर 17 एशियन कुश्ती चैंपियनशिप में बेहतरीन प्रदर्शन करते हुए गोल्ड मेडल पर कब्जा जमाया और गांव का नाम रोशन किया है। मानसी के मेडल जीतने से गांव में खुशी का माहौल बना हुआ है।
मानसी लाठर के ताऊ सतीश पहलवान ने बताया कि मानसी बचपन से ही खेलों के प्रति जागरूक रही है। मानसी लाठर के परिवार में तीन कुश्ती के कोच हैं। मानसी के पिता जयभगवान लाठर साई के कोच हैं और 20 बार इंडिया पुलिस के मेडलिस्ट रहे हैं और अनेकों बार के अंतरराष्ट्रीय पहलवान रहे हैं। स्वेच्छा से सीआरपीएफ से एएएसपी के पद से सेवानिवृति ली थी।
बच्चों के भविष्य को देखते हुए उन्होंने साई के कोच के रूप में कार्य कर रहे हैं। मानसी लाठर के परिवार ने 4 राष्ट्रीय 3 अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी देश को दिए हैं।
मानसी लाठर की माता सीमा लाठर भी एक कोच हैं जोकि खिलाड़ियों को तरासने का काम कर रही हैं। सतीश पहलवान ने बताया कि उनके दादा फुला नंबरदार का सपना रहा है कि उनकी बेटी विदेशों में खेलकर परिवार का नाम रोशन करें। इसी सपने को पूरा करने के लिए परिवार के सदस्यों ने एड्डी चोटी का जोर लगाते हुए उसे सपने को पूरा किया। सतीश पहलवान ने बताया कि गांव पहुंचने पर विजेता खिलाड़ी का जोरदार स्वागत किया जाएगा।
गांव के स्टेडियम में की मेहनत और पाया मुकाम
लजवाना कलां गांव में दादा बनदे खेल ग्राउंड की मिट्टी ने विश्व स्तर पर नाम चमकाने का काम किया है। इसी ग्राउंड में खेलकर अनेकों खिलाड़ियों ने देश और प्रदेश का नाम रोशन किया है। सतीश पहलवान ने गांव के अनेकों बच्चों को प्रशिक्षित किया जिनमें से आज काफी युवा बड़े बड़े पदों पर कार्य कर रहे हैं।